वित्तविहीन स्कूलों के लाखों शिक्षकों को जल्द ही सरकार से मानदेय
मिलेगा। माध्यमिक शिक्षा विभाग इस संबंध में जल्द आदेश जारी करने की तैयारी
में है।
राज्य सरकार ने चालू वित्तीय वर्ष में इन स्कूलों के शिक्षकों को मानदेय देने के लिए 200 करोड़ रुपये की व्यवस्था की है। शिक्षकों को 1 हजार रुपये प्रतिमाह और शिक्षणेत्तर कर्मचारियों को 500 रुपये प्रतिमाह मानदेय दिया जाएगा। इससे लगभग सवा 2 लाख शिक्षकों को लाभ मिल सकता है। अप्रैल 2012 तक मान्यता प्राप्त स्कूलों में पढ़ाने वाले शिक्षकों को यह लाभ मिलेगा।
चुनावी वर्ष में मेहरबान सरकार
- चुनावी वर्ष में राज्य सरकार ने वित्तविहीन व यूपी बोर्ड से मान्यता प्राप्त स्कूलों के अंशकालिक शिक्षकों को मानदेय देने का फैसला लिया है। निजी स्कूलों में शिक्षक उत्पीड़न की शिकायत लगातार करते आए हैं। ये मानदेय उन्हें स्कूल प्रबंधन से मिलने वाले मानदेय के अतिरिक्त होगा। वहीं सहायताप्राप्त स्कूलों के तदर्थ शिक्षकों को भी सरकार नियमित करने जा रही है।
शिक्षक असंतुष्ट
- हालांकि शिक्षक इससे संतुष्ट नहीं हैं और लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं। शिक्षक लगातार आदेश जारी करने को लेकर सरकार पर दबाव बना रहे हैं। बीते दिनों शिक्षकों ने मानदेय का शासनादेश जारी करने और मानदेय बढ़ाने को लेकर माध्यमिक शिक्षा निदेशालय में कई दिनों तक तालाबंदी की और काम नहीं करने दिया।
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राज्य सरकार ने चालू वित्तीय वर्ष में इन स्कूलों के शिक्षकों को मानदेय देने के लिए 200 करोड़ रुपये की व्यवस्था की है। शिक्षकों को 1 हजार रुपये प्रतिमाह और शिक्षणेत्तर कर्मचारियों को 500 रुपये प्रतिमाह मानदेय दिया जाएगा। इससे लगभग सवा 2 लाख शिक्षकों को लाभ मिल सकता है। अप्रैल 2012 तक मान्यता प्राप्त स्कूलों में पढ़ाने वाले शिक्षकों को यह लाभ मिलेगा।
चुनावी वर्ष में मेहरबान सरकार
- चुनावी वर्ष में राज्य सरकार ने वित्तविहीन व यूपी बोर्ड से मान्यता प्राप्त स्कूलों के अंशकालिक शिक्षकों को मानदेय देने का फैसला लिया है। निजी स्कूलों में शिक्षक उत्पीड़न की शिकायत लगातार करते आए हैं। ये मानदेय उन्हें स्कूल प्रबंधन से मिलने वाले मानदेय के अतिरिक्त होगा। वहीं सहायताप्राप्त स्कूलों के तदर्थ शिक्षकों को भी सरकार नियमित करने जा रही है।
शिक्षक असंतुष्ट
- हालांकि शिक्षक इससे संतुष्ट नहीं हैं और लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं। शिक्षक लगातार आदेश जारी करने को लेकर सरकार पर दबाव बना रहे हैं। बीते दिनों शिक्षकों ने मानदेय का शासनादेश जारी करने और मानदेय बढ़ाने को लेकर माध्यमिक शिक्षा निदेशालय में कई दिनों तक तालाबंदी की और काम नहीं करने दिया।