शिक्षक को रिलीव करने के नाम पर पांच हजार रुपये की रिश्वत लेते हुए बीआरपी
को रंगे हाथ पकड़ लिया गया। डीएम से हुई शिकायत के बाद तहसीलदार ने छापा
मारकर बीआरपी को पकड़ लिया और फिर उसे पुलिस के हवाले कर दिया। बाद में
शिक्षक की तहरीर के आधार पर पुलिस ने बीआरपी के खिलाफ भ्रष्टाचार की
रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है।
शिक्षकों से वसूली को लेकर यूं तो खंड शिक्षाधिकारियों के कार्यालय पहले से ही बदनाम हैं। इसी कड़ी में एक और धब्बा शुक्रवार को लग गया। अंतरजनपदीय तबादलों के तहत इस वक्त शिक्षकों की रिलीविंग और उनकी ज्वाइनिंग कराई जा रही है, लेकिन रिलीविंग और ज्वाइनिंग कराने के नाम पर खंड शिक्षाधिकारी कार्यालयों से लेकर स्कूलों तक में वसूली का खेल शुरू हो गया है।
क्षेत्र के मुंशीगंज गांव के प्राथमिक विद्यालय में तैनात हेडमास्टर अतुल सक्सेना का तबादला बरेली हो गया है। उसको रिलीव किया जाना था। रिलीविंग के नाम पर वसूली की जा रही है। वसूली को लेकर शिक्षक पर दबाव बनाया जा रहा था।
शिक्षक ने इस मामले की शिकायत प्राथमिक शिक्षक संघ के पदाधिकारियों से की, जिसके बाद मामले की शिकायत डीएम तक पहुंची। डीएम की शिकायत पर शुक्रवार की दोपहर में तहसीलदार स्वार राजेंद्र कुमार ब्लाक समन्वयक कार्यालय पहुंच गए, जहां शिक्षक अतुल सक्सेना, बीआरपी गोविंद सिंह चौहान को पांच हजार की रिश्वत दे चुका था।
तहसीलदार ने अतुल की तलाशी ली तो उसकी जेब से पांच हजार रुपये बरामद हो गए। अतुल तहसीलदार को बीआरपी को दिए गए नोटों के नंबर पहले ही बता चुका था, जिसके आधार पर इस बात की भी पुष्टि हो गई कि बीआरपी ने अतुल से रिश्वत के पांच हजार रुपये लिए।
बाद में मामले की जानकारी मिलने के बाद खंड शिक्षाधिकारी सद्दीक अहमद भी पहुंच गए। अतुल सक्सेना की शिकायत के आधार पर दढ़ियाल पुलिस चौकी ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। बाद में मामले की तहरीर अतुल की ओर से दी गई, जिसके बाद बीआरपी के खिलाफ रिलीविंग के नाम पर पांच हजार रुपये की रिश्वत लेने की रिपोर्ट दर्ज कर ली है। पुलिस ने बीआरपी को गिरफ्तार कर लिया है। इस दौरान तमाम शिक्षक नेताओं का भी जमावड़ा लग गया।
ताज़ा खबरें - प्रशिक्षु शिक्षकों की भर्ती सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC
शिक्षकों से वसूली को लेकर यूं तो खंड शिक्षाधिकारियों के कार्यालय पहले से ही बदनाम हैं। इसी कड़ी में एक और धब्बा शुक्रवार को लग गया। अंतरजनपदीय तबादलों के तहत इस वक्त शिक्षकों की रिलीविंग और उनकी ज्वाइनिंग कराई जा रही है, लेकिन रिलीविंग और ज्वाइनिंग कराने के नाम पर खंड शिक्षाधिकारी कार्यालयों से लेकर स्कूलों तक में वसूली का खेल शुरू हो गया है।
क्षेत्र के मुंशीगंज गांव के प्राथमिक विद्यालय में तैनात हेडमास्टर अतुल सक्सेना का तबादला बरेली हो गया है। उसको रिलीव किया जाना था। रिलीविंग के नाम पर वसूली की जा रही है। वसूली को लेकर शिक्षक पर दबाव बनाया जा रहा था।
शिक्षक ने इस मामले की शिकायत प्राथमिक शिक्षक संघ के पदाधिकारियों से की, जिसके बाद मामले की शिकायत डीएम तक पहुंची। डीएम की शिकायत पर शुक्रवार की दोपहर में तहसीलदार स्वार राजेंद्र कुमार ब्लाक समन्वयक कार्यालय पहुंच गए, जहां शिक्षक अतुल सक्सेना, बीआरपी गोविंद सिंह चौहान को पांच हजार की रिश्वत दे चुका था।
तहसीलदार ने अतुल की तलाशी ली तो उसकी जेब से पांच हजार रुपये बरामद हो गए। अतुल तहसीलदार को बीआरपी को दिए गए नोटों के नंबर पहले ही बता चुका था, जिसके आधार पर इस बात की भी पुष्टि हो गई कि बीआरपी ने अतुल से रिश्वत के पांच हजार रुपये लिए।
बाद में मामले की जानकारी मिलने के बाद खंड शिक्षाधिकारी सद्दीक अहमद भी पहुंच गए। अतुल सक्सेना की शिकायत के आधार पर दढ़ियाल पुलिस चौकी ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। बाद में मामले की तहरीर अतुल की ओर से दी गई, जिसके बाद बीआरपी के खिलाफ रिलीविंग के नाम पर पांच हजार रुपये की रिश्वत लेने की रिपोर्ट दर्ज कर ली है। पुलिस ने बीआरपी को गिरफ्तार कर लिया है। इस दौरान तमाम शिक्षक नेताओं का भी जमावड़ा लग गया।
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